‘NDA के साथ EC का गठबंधन’: लोकसभा चुनाव की सबसे उल्लेखनीय विशेषता पूछने पर लोगों ने चुनाव आयोग को सुनाई खरी-खोटी
चुनाव आयोग के ट्विटर पोल में 8,223 लोगों ने हिस्सा लिया.

लोकसभा चुनाव के दौरान भाजपा नेताओं द्वारा आचार संहिता का उल्लंघन करने और चुनाव आयोग द्वारा पक्षपाती रवैया अपनाए जाने पर कई लोगों ने आयोग की कड़ी आलोचना की है.
बीते शुक्रवार को चुनाव आयोग ने सोशल मीडिया उपयोगकर्ताओं से आम चुनावों की सबसे उल्लेखनीय विशेषता के बारे में पूछते हुए ट्विटर पर एक पोल किया था.
इस पोल पर लोगों ने टिप्पणी करते हुए आयोग को खूब खरी-खोटी सुनाई और कहा कि उनका संवैधानिक निकाय पर से विश्वास उठ गया है.
चुनाव आयोग ने अपने पोल पोस्ट के जरिए पूछा, “आपकी राय में इस लोकसभा चुनाव की सबसे उल्लेखनीय विशेषता क्या है?” और चार विकल्पों (1. निर्वाचन अधिकारी, इंफ्रा 2. वीवीपीएटी 3. मतदाता भागीदारी 4. वोट प्रत्याशी) में से किसी एक का चुनाव करना था.
इस पोल में 8,223 लोगों ने हिस्सा लिया. जिसमें 36 प्रतिशत लोगों ने मतदाता भागीदारी के पक्ष में वोट दिया. वहीं, करीब 6 प्रतिशत लोगों ने वोट प्रत्याशी का विकल्प चुना.
इस पोल पर प्रतिक्रिया देते हुए कई लोगों ने चुनाव आयोग की कड़ी आलोचना की है. खासकर नरेंद्र मोदी और अमित शाह को आचार संहिता के उल्लंघन के मामले में आयोग द्वारा क्लीन चिट दिए जाने को लेकर भी लोगों ने आयोग पर निशाना साधा है.
Your alliance with NDA was the most remarkable feature.
— Rohin Kumar (@rohinverma2410) May 25, 2019
Most remarkable feature was How EC murdered democracy and constitution by bedding with Modi & Shah.
— Dhiraj (@AAPlogical) May 25, 2019
You sharing an OpIndia article which in turn was sharing a Quora article?
— Rupa Subramanya (@rupasubramanya) May 24, 2019
https://twitter.com/GeorgieVerghis/status/1131947234285645824
Just door to door campaigning was left in favour of the BJP ???
— Engineers Divas ? (@IndnCommonMan) May 24, 2019
Bik gaya election commission..you helping bjp for this victory..
— Gaurav (@Grovs07) May 24, 2019
Coalition with BJP was most remarkable feature of this Lok Sabha Election.#LokSabhaEelctions2019
— Niyázi (@iam_niyazi) May 24, 2019
बीते बुधवार, (22 मई) को चुनाव आयोग ने ओप इंडिया का एक आर्टिकल ट्वीट किया था, जिसमें दावा किया गया था कि इलेक्ट्रॉनिक वोटिंग मशीन (ईवीएम) को हैक नहीं किया जा सकता है.
लोगों के जोरदार विरोध के बाद आयोग ने अपना ट्वीट डिलीट कर दिया. दरअसल, यह पोस्ट दक्षिण पंथी वेबसाइट पर प्रकाशित हुई थी और यह समाचार पोर्टल फ़र्जी ख़बरों को पोस्ट करने के लिए जाना जाता है.
जब आयोग ने ट्विटर पोल पर लोगों की प्रतिक्रिया जानना चाहा, तब यूर्जस ने ओप इंडिया के पोस्ट को लेकर भी आयोग पर उंगली उठाए. बता दें कि देश के विभिन्न हिस्सों से ईवीएम में धांधली की खबरें सामने आने के बाद आयोग ने यह लेख ट्वीट किया था